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Sunday 3 June 2018

जो दिन सी जागती थ

जो दिन सी जागती थी
वो रात सी सोयी

जो हवा सी चलती थी
वो बरसात सी रोयी

जो पाना था उसको
वो चीज़ उसने खोयी

ज़िंदगी किसी ने उसकी
क्यों है अश्क़ में डुबोई...

#अरमान

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